Friday 4 June 2021

स्वच्छ हवा में सांस लेने के अधिकार की मांग कर रहे पूरे पंजाब के 8000 छात्रों के साथ लुधियाना के छात्र भी जुड़े; सीएम को लिखा पत्र

By 121 News
Chandigarh June 04, 2021:- 
विश्व पर्यावरण दिवस पर लुधियाना और पंजाब के अन्य शहरों के आठ हजार से अधिक स्कूली छात्रों ने अपने स्वास्थ्य पर बिगड़ती वायु गुणवत्ता के प्रभावों से जुड़ी चिंताओं से अवगत करवाने के लिए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को पत्र लिखा है। छात्रों ने अपने पत्रों के माध्यम से उनसे बढ़ते वायु प्रदूषण पर कार्रवाई करके तुरंत कदम उठाने का आग्रह किया, जिससे उनके स्वास्थ्य की रक्षा करने में मदद मिलेगी। छात्रों ने पुरजोर अंदाज में इस मुद्दे को मुख्यमंत्री के समक्ष उठाया है।

छात्रों की मांगों ने मुख्य रूप से उनके स्वच्छ हवा के अधिकार और सांस लेने के अधिकार के साथ-साथ इस तथ्य को उजागर किया कि पंजाब में भारत के कुछ सबसे प्रदूषित शहर हैं जैसे-लुधियाना, खन्ना, मंडी गोबिंदगढ़, अमृतसर, जालंधर और पटियाला।

चंडीगढ़ के एक छात्र तनप्रीत सिंह ने कहा कि हमारे शिक्षक हमें बताते रहते हैं कि बढ़ते वायु प्रदूषण और जहरीली हवा में सांस लेने से श्वसन प्रणाली पर क्या प्रभाव पड़ता है और बच्चे वायु प्रदूषण की चपेट में सबसे ज्यादा आते हैं। मैं पंजाब के सभी शहरों में बढ़ते वायु प्रदूषण के स्तर के बारे में सुनता और पढ़ता रहता हूं और यह मुझे कोविड 19 की तरह डराता है।

उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि उनके मुख्यमंत्री कम से कम बच्चों की बात सुनेंगे और सुनिश्चित करेंगे कि युवा पीढ़ी सुरक्षित रहे और पंजाब का हर बच्चा स्वस्थ हवा में सांस ले सके।

कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के तहत लगाए गए लॉकडाउन के दौरान भी, जब अधिकांश उद्योग बंद थे और आवाजाही एवं परिवहन रुका हुआ था, लुधियाना में औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक यानि एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) 135 था, जबकि बेहतर एक्यूआई का स्तर 0-50 और मध्यम का स्तर 51- 100 है। यहां तक कि फाजिल्का और रोपड़ भी, जिन्हें पंजाब के कुछ हरियाली वाले क्षेत्रों में माना जाता है, ने क्रमश: 113 और 129 की औसत एक्यूआई दर्ज की। यह खतरनाक डेटा मौजूदा गंभीर वायु प्रदूषण को कम करने के लिए गंभीर प्रयासों और तुरंत कदम उठाने की तत्काल आवश्यकता पर ध्यान केंद्रित करता है।

इकोसिख द्वारा क्लीन एयर पंजाब परियोजना के तहत वायु प्रदूषण पर छात्रों के बीच जागरूकता पैदा करने की ये महत्वपूर्ण पहल की गई है।

इकोसिख इंडिया की प्रेसिडेंट सुप्रीत कौर ने कहा कि पर्यावरण और हवा की स्वच्छता की बहाली और संरक्षण गतिविधियों के अनुरूप, इकोसिख क्लीन एयर पंजाब के साथ-साथ बच्चों की आवाज़ के माध्यम से सरकार का ध्यान आकर्षित करना चाहता है ताकि उनके भविष्य की सुरक्षा के लिए कड़े कदम उठाए जा सकें। उन्होंने कहा कि हजारों बच्चों ने माननीय मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को पत्र लिखकर पंजाब में वायु प्रदूषण और इससे जुड़ी सांस की समस्याओं के बारे में चिंता व्यक्त की है। छात्रों ने अपने सुरक्षित भविष्य के लिए दृढ़ इच्छाशक्ति और दृढ़ संकल्प दिखाया है।

कौर ने कहा कि करीब 7 हजार चिंतित बच्चों की ओर से, वे राज्य सरकार से समयबद्ध तरीके से प्रदूषण के सभी स्रोतों से निपटने के लिए एक कार्य योजना के साथ आने का आग्रह करते हैं- जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि पंजाब स्वतंत्र रूप से साफ हवा और स्वच्छ पर्यावरण में सांस ले सके।

डॉ.प्रभज्योत कौर सिद्धू, एचओडी, जलवायु परिवर्तन और कृषि मौसम विज्ञान, पीएयू ने कहा कि मई 2021 के महीने के दौरान भी पंजाब का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 113 है, जो संवेदनशील समूहों के लिए अच्छी या संतोषजनक श्रेणी में नहीं है और उनके स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है। हालांकि यह साल का सबसे साफ समय होता है जब पराली आदि भी नहीं जलाई जाती है। इसके अलावा, लॉकडाउन की स्थिति के कारण, वाहनों का यातायात अपने निम्नतम स्तर पर है। औद्योगिक प्रदूषण भी न्यूनतम है।

No comments:

Post a Comment