डायरेक्टर शिरीष खेमरिया ने बताया कि यह फिल्म नर्मदा के तट पर आधारित है और इसमें प्यार, दोस्ती, परिवार और इनके मधुर संबंधों के बारे में बात की गई है। फिल्म सदियों पुराने प्रश्न 'को अहम्' को भारतीय दर्शन के दृष्टिकोण से देखने का प्रयास करती है और एक ऐसी फिल्म है जो खुद को "दार्शनिक नाटक" शैली में सामने रखती है। प्रोड्यूसर शिरीष प्रकाश ने कहा कि अपनी फिल्म को लेकर जिस तरह डर और रोमांच हर प्रोड्यूसर के मन में रहता है, वैसा उनके मन में भी था। लेकिन दर्शकों का पॉजिटिव रिस्पॉन्स और क्रिटिक्स की सराहना ने उनका हौसला बढ़ा दिया है। क्रिएटिव हेड डॉ आलोक प्रकाश ने कहा कि इस फिल्म से जुड़कर उनके अंदर जिस पॉजिटिव एनर्जी का संचार हुआ है, उसे शब्दों में बयान करना मुश्किल है।
'हू एम आई' को चंडीगढ़ के टैगोर थियेटर और पिकाडिली स्क्वायर में प्रदर्शित किया गया। यह फिल्म अब तक लंदन, ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका, स्पेन, कनाडा, इस्राइल और जर्मनी के प्रतिष्ठित फिल्म समारोहों में प्रदर्शित हो चुकी है या फिर स्क्रीनिंग के लिए चयनित की जा चुकी है। सभी जगह इसे तारीफ के साथ-साथ कई पुरस्कारों से भी नवाजा गया है। फिल्म को 16 आईएफएफ जयपुर और कोलकाता कल्ट इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में भी काफी सराहना मिली थी।
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